भिवंडी।एम हुसेन। लगभग पूूर्व डेढ़ माह से लाॅकडाउन लागू किये जाने के कारण पावरलूम और दिहाड़ी मजदूरों के साथ साथ अगर कोई वर्ग बुरी तरह से प्रभावित हुआ है तो वह है रिक्शा चालक। रोज कमाने खाने वाले रिक्शा चालकों को लाॅॅकडाउन ने भूखमरी के कगार पर लाकर खड़ा कर दिया है जो एक गंभीर समस्या बनी हुई है । रिक्शा चालकों की उक्त परेशानियों को गंभीरतापूर्व संंज्ञान में लेते हुए पूर्व विधायक रशीद ताहिर मोमिन ने राज्य के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और उपमुख्यमंत्री अजित पवार सहित अन्य संबंधित मंत्रियों को ज्ञापन देकर काम धंधा बंद होने के चलते भूखमरी के शिकार हो रहे रिक्शा चालकों को उनके लाइसेंस के आधार पर आर्थिक सहायता सहित मुफ्त खाद्य सामग्री उपलब्ध कराने की मांग की है ।
पूर्व विधायक रशीद ताहिर मोमिन ने ज्ञापन में बताया है कि लगभग 10 लाख की आबादी और 26 वर्ग किमी में फैले औद्योगिक शहर भिवंडी में प्रवास का एकमेव साधन रिक्शा होने के कारण यहां लगभग 15 हजार रिक्शे हैं जिसे रातोदिन दोनों पारियों में लगभग 25 हजार रिक्शा चालकों द्वारा चलाए जाते हैं।परंतु लाॅकडाउन लागू किये जाने के कारण जिनका रोजगार पूर्ण रूप से बंद हो गया है।परिणामस्वरूप उक्त रिक्शा चालकों के परिजनों के समक्ष भूखमरी का घोर संकट निर्माण हो गया है। इसलिए रशीद ताहिर मोमिन ने राज्य सरकार को मानवता के आधार पर रिक्शा चालकों को इनके लाइसेंस के आधार पर कम से कम 5 हजार रूपए की तत्काल आर्थिक सहायता के अलावा मुफ्त खाद्य सामग्री उपलब्ध कराने की मांग की है ।
पूर्व विधायक रशीद ताहिर मोमिन ने ज्ञापन में बताया है कि लगभग 10 लाख की आबादी और 26 वर्ग किमी में फैले औद्योगिक शहर भिवंडी में प्रवास का एकमेव साधन रिक्शा होने के कारण यहां लगभग 15 हजार रिक्शे हैं जिसे रातोदिन दोनों पारियों में लगभग 25 हजार रिक्शा चालकों द्वारा चलाए जाते हैं।परंतु लाॅकडाउन लागू किये जाने के कारण जिनका रोजगार पूर्ण रूप से बंद हो गया है।परिणामस्वरूप उक्त रिक्शा चालकों के परिजनों के समक्ष भूखमरी का घोर संकट निर्माण हो गया है। इसलिए रशीद ताहिर मोमिन ने राज्य सरकार को मानवता के आधार पर रिक्शा चालकों को इनके लाइसेंस के आधार पर कम से कम 5 हजार रूपए की तत्काल आर्थिक सहायता के अलावा मुफ्त खाद्य सामग्री उपलब्ध कराने की मांग की है ।
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