Ads (728x90)

सूख रही फसलें, व्यापारिक प्रतिष्ठान बंदी की कगार पर


 सिंचाई के अभाव में सूख रही मूंग की फसल

कन्नौज ( अनुराग चौहान ) बिजली कटौती से जिले में हाहाकार मचा हुआ है। खासकर ग्रामीण अंचलों में हो रही बेतहाषा कटौती से किसान खासे चिंतित हैं। किसानों का कहना है कि भीषण गर्मी में सिंचाई के अभाव के कारण फसलें बर्वाद हो रही हैं। वहीं कम बिजली मिलने से लघु व मध्यम व्यापारिक प्रतिष्ठान भी बंदी की कगार पर पहुंच गए हैं।

गौरतलब है कि प्रदेष की शासन व्यवस्था बदलने के बाद बिजली की काफी किल्लत हो रही है। जहां प्रदेष की योगी सरकार ने जिला मुख्यालयों पर 24 घंटे और ग्रामीण अंचलों में 18 घंटे निर्वाध बिजली आपूर्ति देने का वादा किया है लेकिन हकीकत इससे परे है। किसानों की मानें तो ग्रामीण अंचलों में महज 8 से 10 घंटे ही बिजली आपूर्ति मिल पा रही है। इस बीच कई बार ट्रिपिंग व अघोषित कटौती के कारण किसानों को बिजली नहीं मिल पा रही है। इस कारण नलकूप ठप पडे हैं और पानी के अभाव में फसलें खेतों में दम तोड रही हैं और मध्यम व लघु व्यापारिक प्रतिष्ठान बिजली की कमी से बंदी की कगार पर पहुंच गए हैं।

ठठिया संवाददाता के अनुसार क्षेत्र में बिजली कटौती से जनता से असंतोष बढता जा रहा है। क्षेत्र में पूरी-पूरी रात बिजली नहीं आती है और दिन में भी जब तब बिजली मिल पाती है। इससे फसलें सूख रही हैं। नुकसान का अंदेषा होने की वजह से किसानों की चिंताएं बढ गई हैं। ग्रामीणों का कहना है कि सरकार द्वारा घोषणा किए जाने के बाद भी ग्रामीण अंचलों में शेड्यूल के अनुसार बिजली आपूर्ति नहीं हो पा रही है। इसके लिए दोषी कौन है, इस बात से अधिकारी बेखबर हैं या फिर उनकी मानसिक खामी है। जेई का कहना है कि ओवरलोडिंग की वजह से बिजली कटौती हो सकती है। आपूर्ति नियमानुसार दी जा रही है।

Post a Comment

Blogger