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भिवंडी। एम हुसेन ।भिवंडी मनपा चुनाव निर्णय अधिकारी द्वारा 2 नामांकन पत्रों को रद्द किये जानें के आदेश को बॉम्बे हाईकोर्ट नें निरस्त कर दिया है. 2 न्यायधीश की खंडपीठ नें पीड़ित प्रत्याशियों की याचिका पर चुनाव निर्णय अधिकारी के आदेश को सिरे से खारिज करते हुए प्रत्याशियों के नामांकन पत्र को वैध ठहराया है. हाईकोर्ट के आदेश से चुनाव अधिकारियों की कार्यप्रणाली की पोल खुल गई है. हाईकोर्ट के आदेश से जहां प्रत्याशियों व समर्थकों में भारी खुशी व्याप्त है वहीं विरोधियों के होश उड़ गये हैं.
गौरतलब हो कि, आगामी 24 मई 017 को होनें वाले मनपा चुनाव हेतु मनपा प्रभाग वार्ड क्रमांक 4 (अ) से प्रत्याशी डॉ.नूरुद्दीन निजामुद्दीन अंसारी एवं प्रभाग वार्ड क्र. 3 (क) से प्रत्याशी सिद्दीकी रेहाना महमूद आलम द्वारा चुनाव निर्णय अधिकारी के समक्ष नामांकन पत्र दाखिल किये गये थे. दोनों नामांकन पत्रों को नियमों के खिलाफ करार देते हुए चुनाव निर्णय अधिकारी द्वारा रद्द कर दिया गया था. उल्लेखनीय है कि, 2012 में दोनों कांग्रेसी नगरसेवकों नें कांग्रेस-शिवसेना के गठबंधन से नाराज होकर महापौर चुनाव में मतदान करने से इंकार कर दिया था जिससे कांग्रेस पार्टी प्रत्याशी मोहम्मद इमरान खान को केवल 2 मतों से महापौर चुनाव में हार का सामना करना पड़ा था . महापौर प्रत्याशी की हार से चिंतित कांग्रेस पार्टी द्वारा दोनों नगरसेवकों पर पार्टी व्हिप उलंघन का मामला कोकण आयुक्त के समक्ष दाखिल कर सदस्यता रद्द की मांग की थी. कोकण आयुक्त द्वारा 2013 में उप महापौर डॉ.नूरुद्दीन अंसारी व रेहाना महमूद आलम की मनपा सदस्यता रद्द कर दी गई थी जिससे उपमहापौर डॉ.नूरुद्दीन अंसारी को उप महापौर पद से हाथ धोना पड़ा था. मनपा चुनाव निर्णय अधिकारी ने कोकण आयुक्त निर्णय व राजपत्र 2016 का हवाला देते हुए डॉ.नूरुद्दीन अंसारी एवं सिद्दीकी रेहाना महमूद आलम का आगामी मनपा चुनाव हेतु भरा गया नामांकन पत्र 8 मई को रद्द कर दिया था. चुनाव निर्णय अधिकारी के आदेश से आहत नगरसेवक प्रत्याशी डॉ.नूरुद्दीन अंसारी व सिद्दीकी रेहाना महमूद आलम नें बॉम्बे हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाते हुए न्याय की गुहार लगाई थी. याचिका की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट नें चुनाव निर्णय अधिकारी के आदेश को गलत ठहराते हुए दोनों प्रत्याशियों को मनपा चुनाव लड़ने की मंजूरी प्रदान की है. डॉ.नूरुद्दीन अंसारी व सिद्दीकी रेहाना नें हाईकोर्ट के आदेश को सच्चाई व लोकतंत्र की जीत बताया है.

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