गौरतलब है कि सन २०१७-१८ के अर्थसंकल्प (बजट) मे मुंबई के आने वाले २० वर्ष कि विकास प्रारूप को अम्ल में लाने के लिए आने वाले २० वर्ष के लिए ९१ हजार ८० करोड़ रुपये खर्च अनुमानित है प्रस्तावित विकास प्रारूप को अमल में लाने के लिए २ हजार ९६ करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है. महापालिका की अंगीकृत उपक्रम है बेस्ट उपक्रम आर्थिक घाटे में है. बेस्ट को प्रत्येक वर्ष १ हजार ६२ करोड़ रूपये का नुकशान हो रहा है. बेस्ट का अन्य नुकशान २ हजार १४८ करोड़ के ऊपर पहुचा है. घाटे में रहने वाली बेस्ट उपक्रम को आर्थिक नुकशान बाहर निकालने के लिए पालिका आर्थिक सहाय्यता करेगी. पालिका का मुख्य उत्पन्न रहने वाली मालमत्ता राजस्व कर की चोरी की जाती है. यह चोरी रोका जाये इसके लिए झोपडपट्टीयो के अलावा सभी मालमत्तां की लिडार सर्व्हे किया जाने वाला है. इस सर्व्हे के माध्यम से मालमत्ता राजस्व कर की गलतियों की खोज की जायेगी पालिका के राजस्व में अतिरिक्त राजस्व प्राप्त होगा. उसके लिए अर्थसंकल्प में १५ करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया यह मेहता ने कहा.
मुंबई में मालमत्ता करदाताओं को मालमत्ता राजस्व की बिल ई-मेल द्वारा भेजे जाने की सुविधा सुरु की गयी है. इसके कारण करदाताओं को बिल न मिलने की शिकायत टाला जायेगा. मालमत्ता राजस्व की रक्कम पीओएस किऑक्स मशीन द्वारा स्वीकार करने का सुविधा केंद्र में सुरु किया जायेगा. करदाताओ को राजस्व कर उन्हें समय पर भर सके इसलिए अर्ली बर्ड योजना सुरु किया गया. इसके माध्यम से ८९ हजार मालमत्ता धारकों ने हिस्सा लिया यह योजना इसके आगे भी सुरु रखा जाएगा उसके लिए १५ करोड़ रूपये का प्रावधाव किया गया है. झोपडपट्टी मालमत्ता राजस्व कर लगाने का प्रस्ताव रिकॉर्ड किये जाने से झोपडपट्टीयो पर फिक्स पद्धती से राजस्व कर वसूलन किये जाने का प्रस्ताव पेश किया जाने वाला है. इसके कारण पालिका को २५० करोड़ रूपये का राजस्व मिलकर झोपडपट्टीयो में सार्वजनिक सेवा प्रभाव से दिया जायेग. १ जुलाई २०१७ से वस्तू सेवा कर लागू किया जाना अनुमानित है. इससे आगामी वर्ष में पहिले ३ महिनो के लिए जकात से १५०० करोड़ और अन्य ९ महिनो के लिए वासू व सेवा कर लागू होने के बाद ५८८३ करोड़ ७५ लाख का उत्पन्न अनुमानित है यह मेहता ने कहा.
प्रावधान
मुंबई समुंद्री किनारा रस्ता - १००० करोड़
गोरेगाव - मुलूंड जोडरस्ता - १३० करोड़
रस्ते व वाहतूक विभाग - १०९५ करोड
बाढ़ के क्षेत्र का निर्मूलन - ७४ करोड़
मिठी नदी - २५ करोड़
खुले नाले बन्द करना - ९ करोड
पर्जन्य जलवाहिनी - ४७५ करोड़
आरोग्य व वैद्यकीय सेवा - ३३११ करोड़
शिक्षा - २३११ करोड़
घन कचरा व्यवस्थापन - २१२२ करोड़
उद्याने - २९१ करोड़
वीरमाता जिजाबाई भोसले उद्यान व प्राणी संग्रहालय - ५० करोड़
अग्निशमन दल - १९५ करोड़
बाजार व मण्डियों के लिए - ७५ करोड़
इमारत परिरक्षण - ३२० करोड़
देवनार पशुवधगृह - २ करोड़
महापालिका मुख्यालय के मरम्मत के लिए - १० करोड़
अण्णाभाऊ साठे खुलले नाट्यगृह - ५ करोड़
यांत्रिकी व विद्युत विभाग - १५ करोड़
पीएनजी गॅस प्रकल्प - १ करोड़
आपत्कालीन विभाग - ११ करोड़ ७५ लाख
मजदूर विभाग - १२ करोड़ ६७ लाख
सुरक्षा विभाग का आधुनिकरण - १५ कोटी
टेक्सटाईल म्युझियम बांधणे - २ करोड़ ५० लाख
भारत के स्वातंत्र्य संग्रहालय - १ करोड़
भाऊ दाजी लाड संग्रहालय - ७ करोड़
रायफल क्लब - ५० करोड़
पानी वितरण सुधारना - २७ करोड़ ८१ लाख
जल बोगदे - २५ करोड़
तालाबो का मरम्मत - १८ करोड़ ७० लाख
जलविभाग के लिए - १९४ करोड़
उद्याने - १३ करोड़ ३० लाख
मलनिःसारण प्रकल्प के लिए - ४४४ करोड़
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