छोटे विद्यार्थियों के संज्ञान कौशल को सही दिशा में आगे बढ़ाने का उद्देश्यमुंबई, 5 फरवरी 2017: मुंबई की धारावी झुग्गी-बस्ती के श्री गणेश विद्या मंदिर में ''शिक्षा और पर्यावरण अभियान'' प्रोग्राम का आयोजन किया गया। छोटे विद्यार्थियों के संज्ञान कौशल को सही दिशा में आगे बढ़ाने के उद्देश्य से आयोजित इस अभियान को इंस्टीट्यूट ऑफ केमिकल टेक्नोलॉजी (आइसीटी) मुंबई के सहयोग से और एंड्रेस+हॉसर इंडिया द्वारा संचालित किया गया। इससे सामाजिक और भावनात्मक जुड़ाव बनेगा और इस तरह शैक्षणिक उपलब्धि, सकारात्मक व्यवहार और बेहतर संबंध स्थापित किये जा सकते हैं। इस अवसर पर एंड्रेस+हॉसर और आइसीटी के अधिकारी मौजूद थे।
श्री गणेश विद्या मंदिर मराठी माध्यम का एक प्राइमरी स्कू्ल है। यह मुंबई के धारावी में स्थित है और यहां पढ़ने वाले बच्चे धारावी झुग्गी बस्ती के हैं। स्कूल में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के तकरीबन 150 बच्चे हैं, जिनकी दूसरे स्कूलों तक पहुंच सीमित अथवा न के बराबर है। इसलिये स्कूल में इस पहल को काफी अच्छा प्रतिसाद मिला।
इस आउटरीच प्रोग्राम का उद्देश्य जल और प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण की अहमियत बताना है। इसके अंतर्गत एक अनूठी वर्कशॉप संचालित की गई, जिसमें बच्चोंने भाग लिया। इस कार्यक्रम के एक हिस्से के रूप में बच्चों को नोटबुक, पेंसिल सेट और हल्का नाश्ता उपलब्धा कराया गया।
सजीव नाथ, एमडी, एंड्रेस+हॉसर, भारत ने इस अभियान के बारे में बताते हुये कहा, ''हमारा मानना है कि ज्यादा-से-ज्यादा बच्चों को शिक्षा प्रदान कर भविष्य में एक बेहतर भारत का निर्माण किया जा सकता है। यह अनूठा जागरूकता अभियान एंड्रेस+हॉसर के सामाजिक उत्तरदायित्व प्रयासों को दिखाता है, जहां प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण को बढ़ावा देना हमारी प्राथमिकता है। कंपनी की उपलब्धियों में से एक वाटरफॉल्स का संरक्षण करना रहा है। हमने लोगों, युवाओं और कॉर्पोरेट्स के बीच रचनात्मकक साझेदारी को तरजीह दी है। हमें उम्मीद है कि इस पहल से लोग जागरूक होंगे और देश में जल प्रबंधन एवं संरक्षण को एक नया नजरिया मिलेगा।''
श्री गणेश विद्या मंदिर मराठी माध्यम का एक प्राइमरी स्कू्ल है। यह मुंबई के धारावी में स्थित है और यहां पढ़ने वाले बच्चे धारावी झुग्गी बस्ती के हैं। स्कूल में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के तकरीबन 150 बच्चे हैं, जिनकी दूसरे स्कूलों तक पहुंच सीमित अथवा न के बराबर है। इसलिये स्कूल में इस पहल को काफी अच्छा प्रतिसाद मिला।
इस आउटरीच प्रोग्राम का उद्देश्य जल और प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण की अहमियत बताना है। इसके अंतर्गत एक अनूठी वर्कशॉप संचालित की गई, जिसमें बच्चोंने भाग लिया। इस कार्यक्रम के एक हिस्से के रूप में बच्चों को नोटबुक, पेंसिल सेट और हल्का नाश्ता उपलब्धा कराया गया।
सजीव नाथ, एमडी, एंड्रेस+हॉसर, भारत ने इस अभियान के बारे में बताते हुये कहा, ''हमारा मानना है कि ज्यादा-से-ज्यादा बच्चों को शिक्षा प्रदान कर भविष्य में एक बेहतर भारत का निर्माण किया जा सकता है। यह अनूठा जागरूकता अभियान एंड्रेस+हॉसर के सामाजिक उत्तरदायित्व प्रयासों को दिखाता है, जहां प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण को बढ़ावा देना हमारी प्राथमिकता है। कंपनी की उपलब्धियों में से एक वाटरफॉल्स का संरक्षण करना रहा है। हमने लोगों, युवाओं और कॉर्पोरेट्स के बीच रचनात्मकक साझेदारी को तरजीह दी है। हमें उम्मीद है कि इस पहल से लोग जागरूक होंगे और देश में जल प्रबंधन एवं संरक्षण को एक नया नजरिया मिलेगा।''
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